शायद भारतीय राजनीति में यह पहली बार हुआ है कि किसी सत्ताधारी पार्टी के विधायकों ने हिंदुत्व के नाम पर बग़ावत कर के उद्धव ठाकरे सरकार को धराशाई कर बड़ा सा घाव दे दिया है। अभी तक तो सेक्यूलरिज्म की…
दयानंद पांडेय
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राजनीतिदयानंद पांडेयमुद्दा
हनुमान जी लंका जलाने के लिए भी जाने जाते हैं सत्ता के गुरुर में उद्धव ठाकरे भूल गए
by दयानंद पांडेय 221 viewsशायद भारतीय राजनीति में यह पहली बार हुआ है कि किसी सत्ताधारी पार्टी के विधायकों ने हिंदुत्व के नाम पर बग़ावत कर के उद्धव ठाकरे सरकार को धराशाई कर बड़ा सा घाव दे दिया है। अभी तक तो सेक्यूलरिज्म की…
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राजनीतिदयानंद पांडेयसामाजिक
भाजपा की भी वही प्राथमिकताएं हैं जो कांग्रेस की हैं
by दयानंद पांडेय 193 viewsभाजपा की भी वही प्राथमिकताएं हैं जो कांग्रेस की हैं , जो किसी भी पार्टी की हैं । सारा झगड़ा बस कुर्सी का है। चरित्र सभी का एक ही है । भाजपा भी मंहगाई , बेरोजगारी , भ्रष्टाचार के साथ-साथ…
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हिंदी फ़िल्मों में रोमांस उतना ही पुराना है, उतना ही शाश्वत और चिरंतन है जितना कि हिंदी फ़िल्म है, जितना कि हमारा जीवन है, जितना कि यह ब्रह्मांड है। सोचिए कि बिना प्रेम के यह दुनिया होती तो भला कैसी…
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ओला और एयरटेल के मार्फत जो मामले सामने आए हैं , वह दुर्भाग्यपूर्ण ज़रुर हैं पर सच हैं । मुसलमानों ने अपनी छवि ही ऐसी बना ली है । मुस्लिम बहुल इलाके मिनी पाकिस्तान का रुप ले चुके हैं ,…
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राजनीतिदयानंद पांडेयमुद्दालेखक के विचारसुरक्षा
अग्निपथ और अग्निवीर के विरोध में
by दयानंद पांडेय 193 viewsअग्निपथ और अग्निवीर के विरोध में हो रही आगजनी और हिंसा में जाने कितने बहाने और निशाने हैं। बिहार का माफ़िया और हत्यारा पप्पू यादव कहता है कि यह अंबानी और अडानी के लिए सेक्यूरिटी फ़ोर्स तैयार करना है। …
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नयाईश्वर भक्तिदयानंद पांडेयलेखक के विचारसामाजिकसाहित्य लेख
श्रीरामशलाका प्रश्नावली और पर्वत पार करती अकेली किरन
by दयानंद पांडेय 507 viewsश्रीरामशलाका प्रश्नावली हमारे जीवन में भी बहुत-बहुत रही है। विद्यार्थी जीवन में तो बहुत ज़्यादा। अब तो बहुत समय हो गए , इस का सहारा लिए। बेटी का विवाह खोजने और विवाह हो जाने के बाद बहुत सारे भ्रम टूट…
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राजनीतिकहानियादयानंद पांडेयलेखक के विचारसामाजिकसाहित्य लेख
वे जो हारे हुए : अच्छा कहिए भाग 1
by दयानंद पांडेय 269 views‘मुलायम सिंह जब 1989 में मुख्यमंत्री हुए थे तब नवंबर, 1990 में जो अयोध्या में उन्हों ने कड़ाई की थी, कार सेवकों पर गोलियां चलवाई थीं। तब लोग गुस्से में आ गए। वह कहते रहे कि, ‘परिंदा भी पर नहीं…
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दयानंद पांडेयकहानियासाहित्य लेख
एक आवारा रात विमान में विचरते हुए
by Umrao Vivek Samajik Yayavar 174 viewsजाना था जापान , पहुंच गए चीन ! कल की रात मेरे साथ यही हो गया। बैंगलौर से कल रात दस बजे की फ्लाइट थी। लेकिन बैंगलौर के जालिम ट्रैफिक जाम और इंडिगो की मनमानी के चलते छूट गई। सवा…
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कैदी क्या होते हैं आज इस का एहसास हो रहा है। आप सब काम करते हैं बस अपनी मर्जी से कुछ नहीं कर सकते। जब चाहें तब हाल के बाहर नहीं जा सकते। बाक़ी रहना खाना सब अपने हिसाब से…